पेंचक सिलाट में जीवनगढ़ के हातिम की गोल्डन जीत, उत्तराखंड के लिए राष्ट्रीय मंच पर खेलेंगे हातिम
विकासनगर (देहरादून, 2 जून 2025):
छोटे गाँवों से बड़े सपने निकलते हैं – और यही साबित किया है विकासनगर के जीवनगढ़ गाँव के होनहार बालक हातिम ने। उन्होंने 1 जून को रूद्रपुर में आयोजित 6वीं राज्य स्तरीय पेंचक सिलाट प्रतियोगिता 2025 में स्वर्ण पदक जीतकर न सिर्फ देहरादून, बल्कि पूरे उत्तराखंड को गर्व महसूस कराया।
🥋 पेंचक सिलाट: सिर्फ खेल नहीं, एक अनुशासन
‘पेंचक सिलाट’ एक दक्षिण-पूर्व एशियाई मार्शल आर्ट है, जिसकी जड़ें इंडोनेशिया, मलेशिया और ब्रुनेई जैसे देशों से जुड़ी हैं। यह खेल न केवल शारीरिक शक्ति, बल्कि मानसिक संतुलन, चपलता और अनुशासन का प्रतीक है। भारत में यह आत्मरक्षा और प्रतिस्पर्धात्मक खेल के रूप में लोकप्रिय हो रहा है, खासकर युवाओं में।
🏆 हातिम: गाँव की मिट्टी से उभरता हुआ सितारा
देहरादून ज़िले की टीम का प्रतिनिधित्व करते हुए हातिम ने अपने वर्ग में चुनौतीपूर्ण मुकाबलों में जीत हासिल की। उनकी फुर्ती, संतुलित रणनीति और आत्मविश्वास ने उन्हें मुकाबले के हर क्षण में अग्रणी बनाए रखा। अंततः उन्होंने स्वर्ण पदक जीतकर न सिर्फ अपना नाम रोशन किया, बल्कि अपने क्षेत्र को भी गौरवान्वित किया।
🌟 जीवनगढ़ से राज्य तक, अब राष्ट्रीय मंच की ओर
हातिम की यह जीत महज़ एक पदक नहीं, बल्कि उनके संघर्ष, आत्मविश्वास और कड़ी मेहनत की पहचान है। सीमित संसाधनों वाले गाँव से निकलकर राज्य स्तरीय खेल में उत्कृष्ट प्रदर्शन करना अन्य खिलाड़ियों के लिए मिसाल बन गया है।
📊 देहरादून टीम की शानदार प्रदर्शन
प्रतियोगिता में उत्तराखंड के सभी ज़िलों की टीमें शामिल हुईं, जिनमें से देहरादून ने ओवरऑल तीसरा स्थान प्राप्त किया। देहरादून टीम के जूनियर व सीनियर वर्ग के कुल 50 खिलाडियों में से 35 खिलाड़ियों ने स्वर्ण पदक हासिल किए, जिसमें हातिम प्रमुख चेहरा रहे। साथ ही देहरादून के हिस्से 10 सिल्वर और 5 कांस्य पदक भी आए।
🎙 कोचों और आयोजकों की सराहना
टीम के कोच शशिकांत पांडे, आरविंद बिष्ट, अहमद और मनीष कौर ने हातिम और अन्य प्रतिभागियों की प्रशंसा करते हुए कहा, कि सभी प्रतिभागियों ने अपने अपने वर्ग में बेहतर प्रदर्शन किया है, उन्होंने कठिन प्रशिक्षण और आत्मनियंत्रण के दम पर यह जीत हासिल की है। वह भविष्य में उत्तराखंड का प्रतिनिधित्व राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर करेंगे, ऐसा हमें पूरा विश्वास है।
🏡 गाँव में जश्न का माहौल
प्रतियोगिता में जीत हासिल करने के बाद घर वापस लौटे हातिम का ग्रामीणों और परिजनों ने उनका भव्य स्वागत किया। कई सामाजिक संगठनों ने उन्हें सम्मानित करने की घोषणा की है। साथ ही युवा वर्ग में इस जीत ने नई प्रेरणा का संचार किया है।